मुश्किल समय में एकता बनाये रखना | Moral Story in Hindi
एक गाँव में एक बुजुर्ग व्यक्ति था जिसका नाम ठाकुरानी प्रसाद था। वह गाँव के सबसे बड़े और सम्मानित व्यक्ति थे। ठाकुरानी प्रसाद ने अपना जीवन समाज सेवा में बिताया था। उन्होंने गाँव में स्कूल खोला, गरीबों के लिए आश्रम स्थापित किया और बच्चों की शिक्षा के लिए कई योजनाएँ चलाई।
एक दिन, गाँव में भयंकर सूचना सुनकर लोग चौंक गए। अचानक गाँव में अफवाह फैल गई कि गाँव को भूकंप आने वाला है। लोग डर के मारे हाय-हाय मचाने लगे।
ठाकुरानी प्रसाद ने सबको शांत करने का प्रयास किया और उन्होंने कहा, “डरने की कोई बात नहीं है। हम सभी मिलकर मुश्किलों का सामना कर सकते हैं।”
उन्होंने लोगों को संबोधित करके एक योजना बनाई। सबने मिलकर बड़े प्रयास से एक सुरक्षित स्थान बनाया। ठाकुरानी प्रसाद ने लोगों को धैर्य और सामर्थ्य दिखाया।
भूकंप का समय आया और आए, पर गाँव में कोई हानि नहीं हुई। सभी लोग सुरक्षित थे।
इस घटना के बाद, गाँव वासियों ने ठाकुरानी प्रसाद को बहुत सम्मान दिया और उन्हें हीरो माना।
क्योंकि ठाकुरानी प्रसाद ने सिर्फ अपने ही नहीं, गाँव के सभी लोगों की सुरक्षा का ध्यान रखा था। वे सभी को साथ लेकर, एक मंच पर मिलकर काम किया था। उनकी नेतृत्व में हुए संघर्ष ने सबको एक साथ लाया और मिलकर मुश्किलों का सामना किया।
ठाकुरानी प्रसाद के नेतृत्व में हुए इस कार्य के बाद, उन्हें गाँव के हीरो के रूप में सम्मानित किया गया। लोग उन्हें सराहना और प्रशंसा का प्रकट और उच्च स्तर दिया। ठाकुरानी प्रसाद की नेकी, साहस और समर्पण को देखकर सभी उन्हें प्रेरणा स्त्रोत मानने लगे।
उनकी यह नेक कार्यशीलता और समाजसेवा ने लोगों में एकता और आपसी साथ में रहने की भावना जगाई। ठाकुरानी प्रसाद ने साबित किया कि जब हम मिलकर काम करते हैं, तो कोई भी मुश्किल हमारे सामने आने से पहले ही हर जा सकती है।
इस कहानी से हमें यह सिखने को मिलता है कि अगर हम साथ मिलकर काम करें और एकता बनाए रखें, तो हम किसी भी मुश्किल को पार कर सकते हैं और बड़ी सफलता प्राप्त कर सकते हैं।
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